उत्तरकाशी (Uttarkashi)
उत्तरकाशी जिला
▪उत्तरकाशी में कुल 6 तहसील :-
भटवाड़ी, डुन्डा, पुरोला, मोरी, चिन्यालीसौड़, बड़कोट।
▪उत्तरकाशी में कुल 6 ब्लाक :-
भटवाड़ी, डुन्डा, पुरोला, मोरी, चिन्यालीसौड़, नौगाव।
▪उत्तरकाशी के प्रसिध्द मन्दिर :-
गंगोत्र, यमुनोत्री, विश्वनाथ मंदिर, शक्तिपीठ, कुटेटी देवी, रेनुका देवी, भैरव देवता का मंदिर, शनि मंदिर, पोखू देवता, कर्णदेवता, दुर्योधन मंदिर, कपिलमुनी आश्रम, चौरंगीखाल मंदिर।
यमुनोत्री▪उत्तरकाशी के प्रसिध्द मेले :-
माघ मेला, बिस्सू मेला, कंडक मेला, खरसाली मेला।
▪उत्तरकाशी के पर्यटक स्थल :-
भैरो घाटी, यमुनोत्री, गोमुख, गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान, नेहरु पर्वतारोहण संस्थान, लंका, हर की दून, दयारा बुग्याल, तपोवन, गंगोत्री, गोविंद वन्यजीव विहार आदि।
▪उत्तरकाशी के ताल :-
डोडीताल, देवासाड़ीताल, बयांताल (उबलता ताल), नचिकेता ताल, रोहीसाड़ाताल।
▪उत्तरकाशी के ग्लेशियर :-
गंगोत्री ग्लेशियर, यमुनोत्री ग्लेशियर और डोरियान ग्लेशियर।
▪उत्तरकाशी के कुंड :-
देवकुण्ड, गंगनानी, सूर्यकुंड (यमुनोत्री)।
▪उत्तरकाशी के पर्वत :-
भगीरथी, श्रंंगकंठ, गंगोत्री, यमुनोत्री, बंदरपूंछ।
▪उत्तरकाशी की गुफाएँ व बुग्याल :-
प्रकटेश्वर गुफा, दयारा बुग्याल, हर की दून, तपोवन, पन्वाली कांठा।
▪उत्तरकाशी की नदियाँ :-
भगीरथी, यमुना, टौस, इन्द्रावती।
● यहाँ के प्रमुख स्थान (आकर्षण )------
☆ विश्वनाथ मंदिर :-
यह मंदिर प्रचीनतम है, तथा इसे भगवान शिव को समर्पित किया गया है। ऐसा कहा जाता है कि इस मंदिर की स्थापना परशूराम जी के द्वारा की गई थी। इस मंदिर में एक शिवलिंग स्थापित है। उत्तरकाशी आने वाले पर्यटक इस मंदिर को देखने जरुर आते हैं।
विश्वनाथ मंदिर☆शक्ति मंदिर :-
विश्वनाथ मंदिर के दायीं ओर शक्ति मंदिर स्थित है। इस मंदिर में एक त्रिशूल स्थापित है, जिसकी लंबाई 6 मीटर है। प्राचीन कथाओं के अनुसार देवी दुर्गा (शक्ति) ने इसी त्रिशूल से दानवों को मारा था।
शक्ति मंदिर☆ मनेरी :-
यह स्थान उत्तरकाशी से 14km की दूरी पर स्थित है। यहाँ पर एक बहुत बड़ा डैम बनाया गया है। यह डैम भगीरथी नदी पर बना गया है, जिसे मनेरी भाली परियोजना के नाम से जाना जाता है। डैम होने के कारण यह स्थान पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बन गया है।
मनेरी☆ गंगनानी :-
यह स्थान मनेरी से गंगोत्री जाने के रास्ते पर स्थित है। यहाँ एक गर्म पानी का झरना है, जो बेहद खूबसूरत है। इसके आस-पास का नजारा बहुत ही प्यारा है। सैलानी यहाँ आते हैं और यहाँ की खुबसूरती में डूब जाते हैं।
गंगनानी☆ डोडीताल :-
यह ताल समुद्र तल से 3,307 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। यह ताल चारों तरफ से घने जंगलों से घिरा हुआ है। यहाँ पर्यटकों की हमेशा भीड़ लगी रहती है।
डोडीताल☆ दायरा बुग्याल :-
यह बुग्याल समुद्र तल से 10,000 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। यहाँ से हिमालय का बहुत ही सुंदर नजारा दिखता है।
दायरा बुग्याल☆ नचिकेता ताल :-
यह ताल चारों ओर से हरियाली से घिरा हुआ है, इसके तट पर एक छोटा सा मंदिर भी है। ऐसा माना जाता है कि नचिकेता जो संत उदाक के पुत्र थे उन्होनें इस ताल का निर्माण किया था। इसी कारण इसका नाम नचिकेता ताल पड़ा।
नचिकेता ताल☆ गोमुख :-
गोमुख हिमनदी ही भगीरथी (गंगा) नदी के जल का स्रोत है। यह गंगोत्री से 18km की दूरी पर है। यह हिन्दुओं के लिए बहुत ही पवित्र स्थान है। यहाँ आने वाले प्रत्येक यात्री को यहाँ स्नान जरुर करना चाहिए।
गोमुख
धन्यवाद ❤🙏
Pooja Arya
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